शिया मज़हब का जोग़राफ़िया
मौजूदा ज़माने में शियों का सबसे बड़ा मरकज़ ईरान है लेकिन यह बात क़ाबिले तवज्जोह है कि ईरान हमेशा ही शियत का मरकज़ नही रहा है। बल्कि पहली सदी हिजरी में ही कूफ़ा, यमन, मदीना शियत के मरकज़ रहे हैं। यहाँ तक कि बनी उमैयह की जहर आलूद तबलीग़ात के बावुजूद शाम भी शियों का मरकज़ रहा है। लेकिन इन सब के बावुजूद शियों का सबसे बड़ा मरकज़ इराक़ ही रहा है।
शिया सम्प्रदाय किस प्रकार वजूद मे आया
हज़रत अली अलैहिस्सलाम के चाहने वाले हज़रत अली अलैहिस्सलाम के उस स्थान को दृष्टि मे रखते हुए जो उनको पैगम्बर, सहाबा व मुसलमानो के निकट प्राप्त था यह अवश्यक मानते थे कि पैगम्बर के बाद खिलाफ़त हज़रत अली अलैहिस्सलाम का हक़ है।
पैगम्बर की बीमारी के दिनो को छोड़ कर उस समय की ज़ाहिरी अवस्था से भी ऐसा ही प्रतीत होता था।